मिस्र की सभ्यता
प्राचीन विश्व की सबसे महान सभ्यता
परिचय
मिस्र की सभ्यता (Egyptian Civilization) मानव इतिहास की सबसे प्राचीन और समृद्ध सभ्यताओं में से एक मानी जाती है। यह सभ्यता अफ्रीका महाद्वीप के उत्तर-पूर्वी भाग में स्थित नील नदी के किनारे फली-फूली। इसे "नील नदी की देन" भी कहा जाता है। मिस्र की सभ्यता ने राजनीति, धर्म, विज्ञान, गणित, कला और वास्तुकला में अद्वितीय योगदान दिया।
मिस्र की सभ्यता का उद्गम
मिस्र की सभ्यता की शुरुआत लगभग 3100 ईसा पूर्व मानी जाती है जब राजा मेनेस (Narmer) ने ऊपरी और निचले मिस्र को एकजुट किया और एक केंद्रीय शासन स्थापित किया। इसके बाद मिस्र के इतिहास को तीन प्रमुख कालों में बांटा गया है:
- प्राचीन साम्राज्य (2686–2181 ई.पू.)
- मध्यम साम्राज्य (2055–1650 ई.पू.)
- नवीन साम्राज्य (1550–1069 ई.पू.)
नील नदी और मिस्र
नील नदी मिस्र की सभ्यता की जीवनरेखा थी। यह नदी हर साल बाढ़ लाती थी जिससे भूमि उपजाऊ हो जाती थी। बाढ़ के कारण ही मिस्र में कृषि का विकास संभव हुआ और समाज स्थायित्व की ओर अग्रसर हुआ। नील के किनारे बसे गाँव और शहर धीरे-धीरे एक समृद्ध राज्य में परिवर्तित हुए।
राजा और प्रशासन
मिस्र में राजा को फैरो (Pharaoh) कहा जाता था। फैरो न केवल राजा था, बल्कि वह ईश्वर का प्रतिनिधि और ईश्वरतुल्य माना जाता था। फैरो के पास पूर्ण सत्ता होती थी। प्रशासन में उनके अधीन अनेक अधिकारी, सिपाही, कर संग्रहकर्ता और लेखपाल होते थे।
कुछ प्रसिद्ध फैरो:
- फैरो खुफू – पिरामिड निर्माता
- फैरो तुतनखामुन – प्रसिद्ध युवा राजा
- फैरो रामेसेस द्वितीय – महान योद्धा और निर्माता
मिस्र की धार्मिक मान्यताएँ
मिस्रवासियों का धर्म बहुदेववादी था। वे अनेक देवी-देवताओं की पूजा करते थे। कुछ प्रमुख देवता:
- रा – सूर्य देवता
- ओसिरिस – मृत्यु और पुनर्जन्म का देवता
- आईसिस – मातृत्व की देवी
- होरस – आकाश और युद्ध का देवता
मृत्यु के बाद जीवन में विश्वास के कारण ममीकरण (Mummification) की परंपरा विकसित हुई।
मिस्र की लिपि और साहित्य
मिस्र की लिपि को हायरोग्लिफ़ (Hieroglyphs) कहा जाता है। यह चित्रों के माध्यम से लेखन की प्रणाली थी। उन्होंने पत्थर की दीवारों, मकबरों और मंदिरों पर लेखन किया। बाद में, पपीरस (Papyrus) नामक कागज जैसी वस्तु पर भी लेखन शुरू हुआ।
मिस्र साहित्य में धार्मिक ग्रंथ, मृतकों की पुस्तक, चिकित्सा, गणित और खगोल विज्ञान से जुड़े ग्रंथ शामिल थे।
वास्तुकला और कला
मिस्र की वास्तुकला विश्व प्रसिद्ध है। उन्होंने विशालकाय निर्माण कार्य किए, जिनमें प्रमुख हैं:
- पिरामिड – गीज़ा के तीन पिरामिड (खुफू, खाफरा, मेनक्युरे)
- स्फिंक्स – एक शेर के शरीर और मानव मुख वाली मूर्ति
- भव्य मंदिर – करनक, अबू सिम्बेल आदि
मिस्र की कला में चित्रकला, मूर्तिकला, और भित्तिचित्रों में देवी-देवताओं, फैरो और दैनिक जीवन के दृश्य दिखाए जाते थे।
वैज्ञानिक ज्ञान
मिस्रवासियों को गणित, ज्यामिति और खगोल विज्ञान में अच्छा ज्ञान था। उन्होंने:
- 365 दिन का कैलेंडर विकसित किया
- औषधियों और शल्य चिकित्सा की तकनीकें विकसित कीं
- इमारतों के निर्माण में अत्यधिक सटीक मापन का प्रयोग किया
मिस्र की अर्थव्यवस्था
मिस्र की अर्थव्यवस्था कृषि पर आधारित थी। मुख्य फसलें थीं: गेहूं, जौ, कपास और फल। वे व्यापारिक दृष्टि से भी उन्नत थे और लेबनान, क्रीत, नूबिया आदि देशों से व्यापार करते थे।
मिस्र सभ्यता का पतन
मिस्र पर समय-समय पर विभिन्न विदेशी शक्तियों ने आक्रमण किया। पहले हिक्सोस, फिर पारसी, और अंत में यूनानी और रोमन मिस्र पर कब्जा करते गए। 332 ईसा पूर्व में सिकंदर महान ने मिस्र पर विजय प्राप्त की। इसके बाद मिस्र की स्वतंत्र पहचान धीरे-धीरे समाप्त हो गई।
मिस्र की सभ्यता की विशेषताएँ
विशेषता | विवरण |
---|---|
स्थान | नील नदी के किनारे, उत्तर-पूर्व अफ्रीका |
काल | 3100 ई.पू. से 30 ई.पू. तक |
प्रमुख शासक | खुफू, तुतनखामुन, रामेसेस द्वितीय |
लिपि | हायरोग्लिफ़ |
धर्म | बहुदेववादी |
वास्तुकला | पिरामिड, स्फिंक्स, मंदिर |
विज्ञान | कैलेंडर, ज्यामिति, चिकित्सा |
निष्कर्ष
मिस्र की सभ्यता ने मानव इतिहास को एक गहरी दिशा दी है। आज भी उनके द्वारा बनाए गए पिरामिड, कला और विज्ञान के प्रमाण हमारे लिए प्रेरणा स्रोत हैं। उनकी उपलब्धियाँ यह सिद्ध करती हैं कि प्राचीन सभ्यताएँ केवल इतिहास नहीं, बल्कि वर्तमान की नींव हैं।
FAQ – अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
1. मिस्र की सभ्यता कब शुरू हुई?
मिस्र की सभ्यता की शुरुआत लगभग 3100 ईसा पूर्व मानी जाती है।
2. मिस्र की सभ्यता का मुख्य देवता कौन था?
सूर्य देवता को सर्वोच्च देवता माना जाता था।
3. पिरामिड क्यों बनाए जाते थे?
पिरामिड मिस्र के फैरो के मकबरे होते थे, जहाँ उन्हें मृत्यु के बाद सम्मानपूर्वक दफनाया जाता था।
4. मिस्र की प्रमुख लिपि कौन-सी थी?
मिस्र में हायरोग्लिफ़ लिपि का प्रयोग किया जाता था।
5. मिस्र की सभ्यता का पतन कब हुआ?
मिस्र पर सिकंदर महान के आक्रमण के बाद, 332 ईसा पूर्व से इसकी स्वतंत्रता खत्म होने लगी और अंततः यह रोमन साम्राज्य का भाग बन गया।
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